Singer: Lata Mangeshkar
ये समाँ, समाँ है ये प्यार का
किसी के इंतज़ार का
दिल ना चुराले कहीं मेरा
मौसम बहार का
बसने लगे आँखों में कुछ ऐसे सपने
कोई बुलाए जैसे नैनों से अपने
ये समाँ, समाँ है दीदार का
किसी के इंतज़ार का
दिल ना चुराले कहीं मेरा
मौसम बहार का
मिलके ख़यालों में ही अपने बलम से
नींद गँवाली अपनी मैंने क़सम से
ये समाँ, समाँ है ख़ुमार का
किसी के इंतज़ार का
दिल ना चुराले कहीं मेरा
मौसम बहार का
मैं तो हूँ सपनों के राजा की रानी
सच हो ना जाए ये झूठी कहानी
ये समाँ, समाँ है इक़रार का
किसी के इंतज़ार का
दिल ना चुराले कहीं मेरा
मौसम बहार का