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गुरुवार, 18 जुलाई 2013

ओ निगाहें मस्ताना - O Nigaahein Mastana (Kishore Kumar, Paying Guest)



Movie/Album: पेइंग गेस्ट (1957)
Music By: एस.डी.बर्मन
Lyrics By: मजरूह सुल्तानपुरी
Performed By: किशोर कुमार, आशा भोंसले

ओ निगाहें मस्ताना
देख समां है सुहाना
तीर दिल पे चला के
आ, ज़रा झुक जाना
ओ निगाहें मस्ताना...

कोई देखे नशीले आँखें मल मल के
दिल कैसे बने न दीवाना
शम्मा करे है इशारे जब जल जल के
कहो क्या करे परवाना
ओ निगाहें मस्ताना...

दामन न बचाना मेरे हाथों से
शरमा के गले से लग जाना
जले चाँद सितारे जिन बातों से
सुन जा वही अफ़साना
ओ निगाहें मस्ताना...

बस्ती के दीयों को बुझ जाने दे
लहरा के न रुक-रुक जाना
चाहत का लबों पे नाम आने दे
यही प्यार का है ज़माना
ओ निगाहें मस्ताना...

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मंगलवार, 2 जुलाई 2013

चुपके चुपके रुकते रुकते - Chupke Chupke Rukte Rukte (Lata Mangeshkar, Paying Guest)



Movie/Album: पेइंग गेस्ट (1957)
Music By: एस.डी.बर्मन
Lyrics By: मजरूह सुल्तानपुरी
Performed By: लता मंगेशकर

चुपके-चुपके, रुकते-रुकते
मैंने देखा, तूने देखा
जादू कोई चल ही गया
चुपके-चुपके, रुकते-रुकते...

वो हल्की-हल्की-सी मुँह पे लाली
पहले मिलन की
मुझे वो अब तक याद है
रात गुलशन की
चाँदनी थी रागिनी थी
मैंने देखा, तूने देखा...

उलझ के नैनों का कुछ न कहना
झुक-झुक जाना
वो हाथ मेरा थाम के
तेरा रुक जाना

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सोमवार, 1 जुलाई 2013

छोड़ दो आँचल ज़माना - Chhod Do Aanchal Zamana (Kishore, Asha, Paying Guest)



Movie/Album: पेइंग गेस्ट (1957)
Music By: एस.डी.बर्मन
Lyrics By: मजरूह सुल्तानपुरी
Performed By: आशा भोंसले, किशोर कुमार

छोड़ दो आँचल ज़माना क्या कहेगा
इन अदाओं का ज़माना भी है दीवाना दीवाना क्या कहेगा
छोड़ दो आँचल...

मैं चली अब खूब छेड़ो प्यार के अफ़साने
कुछ मौसम है दीवाना कुछ तुम भी हो दीवाने
ज़रा सुनना, जान-ए-तमन्ना
इतना तो सोचिये मौसम सुहाना क्या कहेगा
छोड़ दो आँचल...

यूँ न देखो जाग जाए प्यार की अंगड़ाई
ये रस्ता ये तनहाई, लो दिल ने ठोकर खाई
यही दिन हैं मस्ती के सिन हैं
किसको ये होश है अपना बेगाना क्या कहेगा
छोड़ दो आँचल...

ये बहारें, ये फुहारें, ये बरसता सावन
थर थर काँपे हैं तन मन
मेरी बैय्याँ धर लो साजन
अजी आना, दिल में समाना
एक दिल एक जान हैं हम तुम, ज़माना क्या कहेगा
छोड़ दो आँचल...

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रविवार, 30 जून 2013

माना जनाब ने पुकारा नहीं - Mana Janab Ne Pukara Nahin (Kishore Kumar, Paying Guest)



Movie/Album: पेइंग गेस्ट (1957)
Music By: एस.डी.बर्मन
Lyrics By: मजरूह सुल्तानपुरी
Performed By: किशोर कुमार

माना जनाब ने पुकारा नहीं
क्या मेरा साथ भी गंवारा नहीं
मुफ़्त में बनके, चल दिये तनके,
वल्ला जवाब तुम्हारा नहीं
माना जनाब ने...

यारों का चलन है गुलामी
देतें हैं हसीनों को सलामी
गुस्सा ना कीजिये, जाने भी दीजिये
बन्दगी तो बन्दगी तो लीजिये साहब
माना जनाब ने...

टूटा फूटा दिल ये हमारा
जैसा भी है अब है तुम्हारा
इधर देखिये, नज़र फेरिये 
दिल्लगी ना दिल्लगी ना कीजिये साहब
माना जनाब ने...

माशा अल्ला कहना तो माना
बन गया बिगड़ा ज़माना
तुमको हँसा दिया, प्यार सिखा दिया
शुक्रिया तो शुक्रिया तो कीजिये साहब
माना जनाब ने...

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बुधवार, 19 जून 2013

चाँद फ़िर निकला - Chand Phir Nikla (Lata Mangeshkar, Paying Guest)



Movie/Album: पेइंग गेस्ट (1957)
Music By: एस.डी.बर्मन
Lyrics By: मजरूह सुल्तानपुरी
Performed By: लता मंगेशकर

चाँद फिर निकला, मगर तुम न आये
जला फिर मेरा दिल, करुँ क्या मैं हाय
चाँद फिर निकला...

ये रात कहती है वो दिन गये तेरे
ये जानता है दिल के तुम नहीं मेरे
खड़ी मैं हूँ फिर भी निगाहें बिछाये
मैं क्या करूँ हाय के तुम याद आये
चाँद फिर निकला...

सुलगते सीने से धुंआ सा उठता है
लो अब चले आओ के दम घुटता हैं
जला गये तन को बहारों के साये
मैं क्या करुँ हाय के तुम याद आये
चाँद फिर निकला...

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बुधवार, 12 जून 2013

हाय हाय हाय ये निगाहें - Haay Haay Haay Ye Nigaahein (Kishore Kumar, Paying Guest)



Movie/Album: पेइंग गेस्ट (1957)
Music By: एस.डी.बर्मन
Lyrics By: मजरूह सुल्तानपुरी
Performed By: किशोर कुमार

हाय हाय हाय ये निगाहें
कर दे शराबी जिसे चाहें, जिसे चाहें
मैं तो भूल गया राहें
हाय हाय हाय ये निगाहें...

रात हसीं, है जवाँ हैं नज़ारे
झूम चले हम दिल के सहारे
आज कोई हमको न पुकारे
रोकती है मेरी राहें
मय की बोतल जैसी बाहें
हाय!
हाय हाय हाय ये निगाहें...

यूँ जो समा बहका बहका हो
हम भी ज़रा बहकें तो मज़ा हो
आँख पिये और दिल को नशा हो
ये इशारे, ये अदाएँ
मय की बोतल जैसी बाहें
हाय!
हाय हाय हाय ये निगाहें...

याद नहीं मेरा प्यार यहीं है
या मेरी मंजिल और कहीं है
देखो मुझे कुछ होश नहीं है
तोबा तोबा ये निगाहें
मय की बोतल जैसी बाहें
हाय!
हाय हाय हाय ये निगाहें...

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